माण्डव दुर्ग की सम्पूर्ण तथ्यात्मक जानकारी |

मांडू / माण्डव   :- 

➤इंदौर के धार जिले में अवस्थित मांडव गढ़ को ही मांडू कहा जाता है, जो विंध्यांचल पर्वतमाला में स्थित है।
➤मांडू का प्राचीन नाम मांडाप था । जिसे सिटी ऑफ जॉय या आनंद की नगरी भी कहा जाता है ।

➤अन्य नाम करीमाबाग मछली नगरी ।

➤परमार शासक जयवर्मन द्वितीय या जीगुती ने अपनी राजधानी धार से मांडू परिवर्तित की थी ।
➤चंद्र सिंह के अभिलेख अनुसार चंद्र सिंह ने 600 ईसवी में मांडव दुर्ग में पार्श्वनाथ का मंदिर बनवाया था।
➤मांडू को 2018 में सर्वश्रेष्ठ हेरिटेज सिटी का राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त हुआ है।
➤मांडू को बाज बहादुर व रानी रूपमती कि प्रणब गाथा से भी जोड़ा जाता है।
➤मांडू में दाखिल होने के लिए 12 दरवाजे हैं। मुख्य रास्ता दिल्ली दरवाजा कहलाता है दूसरे दरवाजे रामगोपाल दरवाजा , जहांगीर दरवाजा , तारापुर दरवाजा और अन्य कई दरवाजे हैं ।

दर्शनीय स्थल :-   जहाज महल , हिंडोला महल , होशंग शाह का मकबरा , जामा मस्जिद , अशर्फी महल , रीवा कुंड , रूपमती मंडल , नीलकंठ महल  , हाथी महल तथा लोहानी गुफाएं प्रमुख है ।








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